शिव ही युक्ति, शिव ही मुक्ति, शिव ही है परम विधाता – आचार्य ललितानन्द महाराज

हरिद्वार 13 जुलाई 2025( वरिष्ठ पत्रकार ठाकुर मनोजानंद) गाजीवाला आर्य नगर श्यामपुर में माता के 31 सिद्ध पीठ की स्थापना करने वाले मां कामाख्या उपासक शाक्त अखाड़े के आचार्य महामंडलेश्वर परम विदुषी विद्वान ज्ञान मूर्ति आचार्य ललितानन्द महाराज ने 21 मुखी शिवलिंग की स्थापना करते हुए कहा जो भगवान शिव के 21 तथा 31 मुखी शिवलिंग के दर्शन करता है उसकी 62 पीढीयो का तर्पण हो जाता है। उन्होंने कहा कि भगवान शिव ही युक्ति दाता है और भगवान शिव ही मुक्तिदाता है भगवान शिव कालों के काल महाकाल है काल का भी वही काल है और इस सृष्टि की उत्पत्ति मां कामाख्या स्वरूप से हुई है और एक दिन भगवान शिव में समाहित हो जाना है जो शिवा और मां कामाख्या के एक साथ दर्शन करता है उसे कई यज्ञों का फल प्राप्त होता है और शिव पुराण के अध्ययन से मन के सभी विकास समाप्त हो जाते और मनुष्य के भाग्य का उदय हो जाता है शिव ही मुक्तिदाता है और शिव ही तर्पण करता है शिव ही वैराग्य है और शिव ही आराध्या है भक्ति ही युक्ति है और भक्ति ही मुक्ति है